अध्याय 3 नात्सीवाद और हिटलर का उदय | Nazism and the Rise of Hitler

  नात्सीवाद का अर्थ नात्सीवाद का उदय कब हुआ?वाइमर गणराज्य का जन्म हिटलर का उदय नात्सियों का विश्व दृष्टिकोण नात्सी जर्मनी में युवाओं की स्थिति नाजीवाद और फासीवाद क्या है?   ★ वाइमर गणराज्य का जन्म :- वाइमार गणतंत्र जर्मनी की उस प्रतिनिधिक लोकतांत्रिक संसदीय सरकार को कहा जाता है Read More …

अध्याय 13 : विधुत धारा के चुंबकीय प्रभाव

विधुत धारा के चुंबकीय प्रभाव     विधुत धारा का चुंबकीय प्रभाव :-  जब किसी चालक में विद्युत धारा प्रवाहित की जाती है , तो उसके चारों ओर एक चुंबकीय क्षेत्र उत्पन्न हो जाता है , इस घटना को विद्युत धारा का चुंबकीय प्रभाव कहते हैं ।   चुम्बक :- Read More …

अध्याय 12 : विधुत

विधुत   विधुत ऊर्जा :- किसी चालक में विधुत आवेश प्रवाहित होने से जो ऊर्जा व्यय होती है उसे विधुत ऊर्जा कहते हैं । यदि किसी चालक के सिरों के बीच विभवांतर V वोल्ट हो , तो q कूलॉम आवेश के चालक के एक सिरे से दूसरे सिरे तक ले Read More …

अध्याय 11 : मानव नेत्र तथा रंगबिरंगा संसार

मानव नेत्र तथा रंगबिरंगा संसार      मानव नेत्र :- यह एक अत्यंत मूल्यावान एवं सुग्राही ज्ञानेंद्रिय है । मानव नेत्र एक कैमरे के भांति कार्य करता है । जो हमें चारों ओर के रंगबिरंगे संसार को देखने योग्य बनाता है । यह दृष्टिपटल पर उल्टा , वास्तविक प्रतिबिंब बनाता Read More …

अध्याय 10 : प्रकाश – परावर्तन तथा अपवर्तन

प्रकाश – परावर्तन तथा अपवर्तन   प्रकाश :-  प्रकाश ऊर्जा का एक रूप है , जिसकी मदद से हम किसी भी वस्तु को देख पाते हैं , प्रकाश कहलाता है । प्रकाश के गुण :- प्रकाश सरल ( सीधी ) रेखाओं में गमन करता है । प्रकाश विद्युत चुंबकीय तरंग Read More …

अध्याय 9 : आनुवंशिकता एवं जैव विकास

 आनुवंशिकता एवं जैव विकास     आनुवंशिकी :-  लक्षणों के वंशीगत होने एवं विभिन्नताओं का अध्ययन ही आनुवंशिकी कहलाता है । आनुवंशिकता :-  विभिन्न लक्षणों का पूर्ण विश्वसनीयता के साथ वंशागत होना  आनुवंशिकता कहलाता है । विभिन्नता :-  एक स्पीशीज के विभिन्न जीवों में शारीरिक अभिकल्प और डी ० एन० Read More …

अध्याय 8 : जीव जनन कैसे करते है

जीव जनन कैसे करते हैं     जनन :-  जनन वह प्रक्रिया है जिसके द्वारा सजीव अपने जैसे नए जीव उत्पन्न करते हैं । यह पृथ्वी पर जीवन की निरंतरता को बनाए रखने के लिए आवश्यक है । जनन जीवों का अस्तित्व बनाए रखता है । जनन की मूल घटना डी.एन.ए. Read More …

अध्याय 7 : नियंत्रण एवं समन्वय

 नियंत्रण एवं समन्वय   नियंत्रण एवं समन्वय का क्या अर्थ :- जीव में विभिन्न जैव प्रक्रम एक साथ होते रहते है इन सभी के बीच तालमेल बनाए रखने को समन्वय कहते हैं ।  इस संबंध को स्थापित करने के लिए जो व्यवस्था होती है उसके लिए नियंत्रण की आवश्यकता होती Read More …

अध्याय 6 : जैव प्रक्रम

 जैव प्रक्रम   सजीव वस्तुएँ :- वे सभी वस्तुएँ सजीव वस्तएँ कहलाती है , जिसमें पोषण , श्वसन , उत्सर्जन तथा वृद्धि जैसी क्रियाएँ होती है । जैसे :- जंतु और पौधे ।   निर्जीव वस्तुएँ :- वे सभी वस्तुएँ निर्जीव वस्तुएँ कहलाती है , जिसमें जीवन के कोई भी Read More …

अध्याय 5 : तत्वों का आवर्त वर्गीकरण

तत्वों का आवर्त वर्गीकरण    तत्व :-  ऐसे पदार्थ जो एक ही प्रकार के अणुओं से मिलकर बने हैं , तत्व कहलाते हैं । उदाहरण :- सोडियम , सोना , मैग्नीशियम ।  आज तक हम 118 तत्वों की जानकारी प्राप्त कर चुके है । इन सभी तत्वों के गुण भिन्न Read More …